महाकुंभ में भगदड़ पर सियासी संग्राम, अखिलेश ने मांगा CM का योगी इस्तीफ़ा
कहा पुलिस, प्रशासन बुरी तरह फेल, मेला की कमान आर्मी को सौंपने की भी मांग, राहुल गांधी ने VIP मूवमेंट पर सवाल उठाये

प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ की मौनी अमावस्या के अमृत स्नान से पहले संगम नोज पर हुई भगदड़ में कई लोगों ने अपनी जान गंवा दी हैं जबकि दर्जनों लोग घायल हुए है, जिनका इलाज प्रयागराज के अलग अलग अस्पतालों में चल रहा है. सरकार जहां इस हादसे के बाद व्यवस्था को संभालने में लगी है तो विपक्ष यूपी की योगी सरकार को कटघरे में खड़ा कर रहे है. समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने मेला की कमान आर्मी को सौंपने की मांग कर डाली है. अखिलेश यादव ने एक्स पर की गई एक पोस्ट में कहा ''महाकुंभ में आए संत समाज और श्रद्धालुओं में व्यवस्था के प्रति पुनर्विश्वास जगाने के लिए ये आवश्यक है कि उप्र शासन-प्रशासन के स्थान पर महाकुंभ का प्रशासन और प्रबंधन तत्काल सेना को सौंप देना चाहिए''.
इतना ही नहीं अखिलेश ने अखिलेश ने इस्तीफे की भी मांग कर डाली, अखिलेश ने CM योगी नाम सीधे तौर पर नहीं लिया लेकिन लिखा कि- ''विश्वस्तरीय व्यवस्था’ करने के प्रचार करते हुए दावों की सच्चाई अब जब सबके सामने आ गयी है, तो जो लोग इसका दावा और मिथ्या प्रचार कर रहे थे, उन्हें इस हादसे में हत हुए लोगों की नैतिक ज़िम्मेदारी लेते हुए अपना पद त्याग देना चाहिए".
उधर रायबरेली से कांग्रेस सांसद और लोकसभा में नेता विपक्ष राहुल गांधी ने एक्स पर लिखा "प्रयागराज महाकुंभ में भगदड़ के कारण कई लोगों के मौत और कईयों के घायल होने की ख़बर अत्यंत दुखद है. शोकाकुल परिवारों के प्रति अपनी गहरी संवेदनाएं व्यक्त करता हूं और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की आशा करता हूं". राहुल गांधी ने भी इस घटना पर यूपी की योगी सरकार पर निशाना साधा. उन्होंने एक्स पर लिखा कि ''इस दुखद घटना के लिए कुप्रबंधन, बदइंतजामी और आम श्रद्धालुओं की जगह VIP मूवमेंट पर प्रशासन का विशेष ध्यान होना ज़िम्मेदार है." राहुल गांधी ने कहा कि "अभी महाकुंभ का काफी समय बचा हुआ है, कई और महास्नान होने हैं. आज जैसी दुखद घटना आगे न हो इसके लिए सरकार को व्यवस्था में सुधार करना चाहिए. VIP कल्चर पर लगाम लगनी चाहिए और सरकार को आम श्रद्धालुओं के जरूरतों की पूर्ति के लिए बेहतर इंतजाम करने चाहिए". राहुल गांधी ने कांग्रेस कार्यकर्ताओं और नेताओं से अनुरोध भी किया वो पीड़ित परिवारों की मदद करें.
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